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कांग्रेस का आरोप- अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा नहीं कराना संसद का अपमान

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नई दिल्ली, 31 जुलाई। कांग्रेस ने सोमवार को आरोप लगाया कि सरकार लोकसभा में विपक्ष द्वारा लाए गए अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा नहीं करा रही है जो संसद का अपमान है। लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने यह भी कहा कि सरकार को सबसे पहले अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा करानी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि सत्तापक्ष के सांसदों को भी हिंसा प्रभावित मणिपुर का दौरा करना चाहिए और वहां की जमीनी स्थिति को समझना चाहिए।

चौधरी ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘हमने इस सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश किया है और इस पर लोकसभा में चर्चा शुरू होनी चाहिए। हमें संसद में किसी अन्य सरकारी कामकाज को लेकर कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन सबसे पहले अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा होनी चाहिए।’’ उन्होंने कहा, ‘‘इस अविश्वास प्रस्ताव का अपना महत्व है और अगर सरकार इस पर चर्चा नहीं कराती है, अन्य विधेयक और नीतियां लाती है तो यह फिर संसद का अपमान है। ऐसा कभी नहीं हुआ था कि अविश्वास प्रस्ताव को दरकिनार कर दूसरे विधेयकों पर चर्चा कराई जाए।’’

कांग्रेस और विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ (इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस) के अन्य घटक दल मानसून सत्र के पहले दिन से ही मणिपुर में जातीय हिंसा के मुद्दे पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से संसद में वक्तव्य देने और चर्चा कराए जाने की मांग कर रहे हैं। इस मुद्दे पर हंगामे के कारण दोनों सदनों में कार्यवाही बाधित रही है।

कांग्रेस ने मणिपुर हिंसा के मुद्दे पर संसद में जारी गतिरोध के बीच बुधवार, 26 जुलाई को लोकसभा में सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश किया था, जिस पर सदन में चर्चा के लिए मंजूरी दे दी गई थी। उस दिन लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा था कि वह सभी दलों के नेताओं से बातचीत करने के बाद इस प्रस्ताव पर चर्चा के लिए तिथि तय करेंगे।

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