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मणिपुर में 60 हजार बेघर और 200 से ज्यादा की मौत, सरकार मूकदर्शक: कांग्रेस सांसद

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नई दिल्ली, 2 जुलाई। मणिपुर से कांग्रेस सांसद अंगोमचा बिमोल अकोइजम ने सोमवार को लोकसभा में प्रदेश की स्थिति को लेकर चिंता जताते हुए केंद्र सरकार पर इस ‘‘त्रासदी’’ की उपेक्षा करने का आरोप लगाया। उन्होंने दावा किया कि विश्व चैंपियन मुक्केबाज मैरीकॉम तथा ओलंपिक पदक विजेता भारोत्तोलक मीराबाई चानू जैसे लोगों से कहा जा रहा है कि वे और उनका राज्य इस देश में कोई मायने नहीं रखते।

कांग्रेस सांसद ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर लाए गए धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लेते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से इस मुद्दे पर ‘‘चुप्पी’’ तोड़ने को कहा। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को यह बोलने की चुनौती दी कि मणिपुर भारत का हिस्सा है और वहां की जनता की उसे परवाह है।

‘इनर मणिपुर’ लोकसभा क्षेत्र से सांसद ने कहा कि अगर प्रधानमंत्री और भाजपा ऐसा करते हैं तो वह मानेंगे कि उनमें राष्ट्रवाद है। अकोइजम ने मणिपुर में एक साल से व्याप्त हिंसा के माहौल का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘हमें इसका अहसास करना होगा कि 60 हजार लोग एक साल से राहत शिविरों में दयनीय स्थिति में रह रहे हैं….60 हजार लोग बेघर हो गए हैं, यह कोई मजाक नहीं है। दो सौ से ज्यादा लोग मारे गए हैं।’’

उन्होंने कहा कि इस स्थिति के बावजूद सरकार मूकदर्शक बनी हुई है। कांग्रेस सांसद ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री अब तक एक शब्द नहीं बोले। अभिभाषण में भी एक शब्द नहीं बोला गया…एक प्रदेश की त्रासदी को नजरअंदाज किया गया, यह हैरान करने वाला है।’’

अकोइजम ने कहा, ‘‘आप जवानों का अपमान कर रहे हैं। आप उन युवाओं का अपमान कर रहे हैं जो अंतरराष्ट्रीय मंचों पर देश का झंडा उठाते हैं..आप मैरीकॉम, कुंजूरानी और मीराबाई चानू से कह रहे हैं कि आपका और आपके राज्य का इस देश में कोई मतलब नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि अगर ऐसा नहीं होता है तो सदन और अभिभाषण में इस मामले पर खामोशी नहीं होती।

इस पर भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने आपत्ति जताते हुए कहा, ‘‘मैरीकॉम को हमारी सरकार ने सांसद बनाया…मणिपुर को खेल विश्वविद्यालय दिया…कांग्रेस के कारण मणिपुर की यह स्थिति है।’’ कांग्रेस सांसद ने कहा, ‘‘मैं उस क्षण शांत हो जाऊंगा जब प्रधानमंत्री अपना मुंह खोलेंगे और राष्ट्रवादी पार्टी (भाजपा) कहेगी कि मणिपुर भारत का हिस्सा है औेर हमें उस राज्य के लोगों की परवाह है। इसके बाद मैं स्वीकार करूंगा कि राष्ट्रवाद है।’