वडोदरा, 10 जुलाई। वडोदरा के महिसागर नदी पर निर्मित चार दशक पुराने पुल का हिस्सा ढहने के बाद गुजरात सरकार हरकत में आ गई है। सीएम भूपेंद्रभाई पटेल की ओर से हादसे की उच्चस्तरीय जांच के आदेश के अनुपालन में विशेषज्ञ टीम ने गुरुवार को रिपोर्ट पेश की, जिसके बाद चार इंजीनियरों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया।
गंभीरा पुल हादसे में मृतकों की संख्या 17 तक जा पहुंची
इस बीच गंभीरा पुल हादसे में मृतकों का आंकड़ा बढ़कर 17 तक जा पहुंचा है जबकि कम से कम तीन लोग अब भी लापता हैं। बुधवार को सुबह हादसे में शुरुआती तौर पर 10 लोगों की मौत की जानकारी सामने आई थी। बाद में तीन शव और बरामद किए गए जबकि गुरुवार को भी चार शव बरामद किए गए।
दरअसल, सीएम भूपेंद्र पटेल ने हादसे की विस्तृत और गहन हाई लेवल जांच के आदेश दिए थे। विशेषज्ञों की एक टीम को इसकी जिम्मेदारी सौंपी गई थी, जिसे रिपेयर, इंस्पेक्शन और क्वालिटी चेक को लेकर रिपोर्ट पेश करनी थी। प्रारंभिक जांच के बाद एक्सपर्ट की कमेटी ने चार इंजीनियरों की जिम्मेदारी तय की। इसका संज्ञान लेते हुए चारों इंजीनियरों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। इनके नाम एनएम नाइकवाला (कार्यपालक अभियंता), यूसी पटेल (उप-कार्यपालक अभियंता), आरटी पटेल (उप-कार्यपालक अभियंता) और जेवी शाह (सहायक अभियंता) हैं। वहीं सीएम भूपेंद्र पटेल ने राज्य के अन्य पुलों का भी तत्काल और गहन निरीक्षण करने के निर्देश दिए हैं।
उल्लेखनीय है कि आणंद और वडोदरा शहर को जोड़ने वाले इस चार दशक पुराने पुल का कुछ हिस्सा बुधवार सुबह भरभराकर नदी में गिर गया था। वहां से गुजर रहे कई वाहन नदी में जा गिरे थे। वडोदरा के कलेक्टर अनिल धामेलिया के अनुसार- ‘एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें नदी के भीतर चार किलोमीटर तक व्यापक स्तर पर खोजबीन कर रही हैं। अब तक 17 शव बरामद किए जा चुके हैं जबकि तीन लोग अब भी लापता हैं।

